एक मेहनती और ईमानदार नौजवान बहुत पैसे कमाना चाहता था क्योंकि वह गरीब था और बदहाली में जी रहा था। उसका सपना था कि वह मेहनत करके खूब पैसे कमाये और एक दिन अपने पैसे से एक कार खरीदे। जब भी वह कोई कार देखता तो उसे अपनी कार खरीदने का मन करता।

एक दिन रविवार को वह कार को रगड़ – रगड़ कर धो रहा था। यहां तक कि गाड़ी के टायरों को भी चमका रहा था। उसका 5 वर्षीय बेटा भी उसके साथ था। बेटा भी पिता के आगे पीछे घूम – घूम कर कार को साफ होते देख रहा था। कार धोते धोते अचानक उस आदमी ने देखा कि उसका बेटा कार के बोनट पर किसी चीज़ से खुरच – खुरच कर कुछ लिख रहा है। यह देखते ही उसे बहुत गुस्सा आया। वह अपने बेटे को पीटने लगा। उसने उसे इतनी जो़र से पीटा कि बेटे के हाथ की एक उंगली ही टूट गयी। दरअसल वह आदमी अपनी कार को बहुत चाहता था और वह बेटे की इस शरारत को बर्दाश्त नहीं कर सका । बाद में जब उसका गुस्सा कुछ कम हुआ तो उसने सोंचा कि जा कर देखूं कि कार में कितनी खरोंच लगी है। कार के पास जा कर देखने पर उसके होश उड़ गये। उसे खुद पर बहुत गुस्सा आ रहा था। वह फूट – फूट कर रोने लगा। कार पर उसके बेटे ने खुरच कर लिखा था Papa, I love you.
यह कहानी हमें यह सिखाती है कि किसी के बारे में कोई गलत राय रखने से पहले या गलत फैसला लेने से पहले हमें ये ज़रूर सोंचना चाहिये कि उस व्यक्ति ने वह काम किस नियत से किया है।
Post a Comment